
देहरादून: हाल ही में कोलकाता में हुई जघन्य घटना ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया है। इस घटना के विरोध में आज अखिल भारतीय करनी सेना की देहरादून टीम ने एक कैंडल मार्च का आयोजन किया। यह कैंडल मार्च प्रदेश अध्यक्ष शुभम सिंह ठाकुर के नेतृत्व में निकाला गया। इस मार्च में बड़ी संख्या में करनी सेना के कार्यकर्ता और स्थानीय लोग शामिल हुए, जिन्होंने पीड़िता को न्याय दिलाने और दोषियों को सख्त सजा दिलाने की मांग की।
कैंडल मार्च के दौरान प्रदेश अध्यक्ष शुभम सिंह ठाकुर ने कहा, “इस अमानवीय घटना ने हमारी आत्मा को झकझोर दिया है। यह हमारे समाज के लिए एक काला अध्याय है, और हमें इसे कभी नहीं भूलना चाहिए। हमने इस घटना के दोषियों को सख्त सजा दिलाने के लिए पूरी ताकत से लड़ने का संकल्प लिया है।” उन्होंने यह भी घोषणा की कि जो भी व्यक्ति इस जघन्य अपराध के दोषियों को मारने में मदद करेगा, उसे करनी सेना की ओर से दो लाख रुपए का इनाम दिया जाएगा।
इस कैंडल मार्च का नेतृत्व करने में प्रदेश मंत्री रविंदर सजवाण और प्रदेश महामंत्री आशीष की भी अहम भूमिका रही। उन्होंने इस मार्च के दौरान कहा, “हमारा यह कैंडल मार्च केवल एक विरोध नहीं है, बल्कि यह एक संदेश है कि हम किसी भी हालत में दोषियों को सजा दिलाए बिना नहीं रहेंगे। यह लड़ाई सिर्फ कोलकाता की नहीं है, बल्कि यह पूरे देश की लड़ाई है।”
कैंडल मार्च के दौरान करनी सेना ने कोलकाता सरकार से दोषियों को फांसी देने की मांग की। उन्होंने स्पष्ट किया कि यदि दोषियों को जल्द ही सजा नहीं दी गई, तो करनी सेना पूरे देश में उग्र आंदोलन करेगी। प्रदेश अध्यक्ष शुभम ठाकुर ने पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी से तत्काल इस्तीफा देने की भी मांग की। उन्होंने कहा, “यह घटना ममता बनर्जी सरकार की विफलता का प्रतीक है। अगर वह न्याय दिलाने में असमर्थ हैं, तो उन्हें अपने पद से इस्तीफा देना चाहिए।”
कैंडल मार्च के दौरान स्थानीय लोगों ने भी बड़ी संख्या में भाग लिया और अपने आक्रोश को व्यक्त किया। लोगों ने अपने हाथों में मोमबत्तियां और तख्तियां लेकर कोलकाता की घटना के दोषियों को जल्द से जल्द सजा दिलाने की मांग की। इस विरोध प्रदर्शन के दौरान लोगों ने पीड़िता और उसके परिवार के प्रति अपनी संवेदनाएं भी व्यक्त कीं।
यह कैंडल मार्च देहरादून के प्रमुख स्थलों से होकर गुजरा और लोगों ने इसे लेकर जोरदार समर्थन जताया। करनी सेना के इस विरोध प्रदर्शन को लेकर देहरादून में काफी चर्चा हो रही है।
करनी सेना के कार्यकर्ताओं ने इस मौके पर कहा कि यदि दोषियों को फांसी नहीं दी जाती, तो यह हमारे समाज के लिए एक बड़ा कलंक होगा। उन्होंने यह भी कहा कि वह इस लड़ाई को अंतिम अंजाम तक ले जाएंगे, चाहे इसके लिए उन्हें कोई भी कीमत चुकानी पड़े।
देहरादून में हुए इस कैंडल मार्च ने कोलकाता की घटना के प्रति जनता के आक्रोश को एक नया आयाम दिया है। अब देखना यह है कि कोलकाता सरकार और ममता बनर्जी इस पर क्या कदम उठाती हैं। लेकिन एक बात साफ है, करनी सेना इस मुद्दे पर किसी भी तरह का समझौता नहीं करेगी और दोषियों को सजा दिलाने के लिए हर संभव प्रयास करेगी।