
उत्तराखंड और विदेशों में बसे प्रवासी उत्तराखंडी, अपनी संस्कृति और परंपराओं के संरक्षण के प्रति जागरूक रहते हुए, 7 अक्तूबर 2024 को गढ़ भोज दिवस मनाने जा रहे हैं। यह दिवस उत्तराखंड के पारंपरिक खान-पान को बढ़ावा देने और स्वस्थ जीवनशैली के प्रति लोगों को जागरूक करने का एक महत्वपूर्ण अवसर है। इस आयोजन का मुख्य कार्यक्रम देहरादून के राजकीय बालिका इंटर कॉलेज, राजपुर रोड में आयोजित किया जाएगा। इस वर्ष के कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में उत्तराखंड के कैबिनेट मंत्री डॉ. धन सिंह रावत जी उपस्थित रहेंगे।
इस बार गढ़ भोज दिवस का मुख्य विषय “गढ़ भोज से निरोगी काया” रखा गया है, जोकि स्वास्थ्य के प्रति लोगों को जागरूक करने के उद्देश्य से चुना गया है। उत्तराखंड के पारंपरिक भोजन में मौजूद पोषण तत्व न केवल शरीर को स्वस्थ रखते हैं, बल्कि रोग प्रतिरोधक क्षमता को भी बढ़ाते हैं। कार्यक्रम का उद्देश्य इन पारंपरिक व्यंजनों को पुनर्जीवित कर उनके महत्व को वर्तमान पीढ़ी तक पहुंचाना है।
गढ़ भोज दिवस का इतिहास और उद्देश्य
गढ़ भोज दिवस का आयोजन पहली बार वर्ष 2022 में किया गया था। तब से यह हर साल बड़े उत्साह के साथ मनाया जाता है। इसका आयोजन मुख्य रूप से स्कूलों, कॉलेजों, विश्वविद्यालयों, मेडिकल कॉलेजों, अस्पतालों और भोजन से जुड़े व्यक्तियों के सहयोग से किया जाता है। इस दिवस के आयोजन का उद्देश्य उत्तराखंड के पारंपरिक भोजन के लाभों को जन-जन तक पहुंचाना और आधुनिक खान-पान के दुष्प्रभावों से बचाव करना है।
इस साल, मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी जी ने भी गढ़ भोज दिवस मनाने का आह्वान किया है। इसके साथ ही पर्यावरणविद पद्म भूषण डॉ. अनिल प्रकाश जोशी, गायक पद्मश्री प्रीतम भर्तवाण, गायक श्री ओम बधानी, श्री इंदर आर्य, सामाजिक कार्यकर्ता श्री सुरेश सतपति, और नीदरलैंड से प्रसिद्ध शेफ श्री टीका राम पंवार जैसे प्रमुख व्यक्तित्वों ने भी वीडियो संदेश जारी कर इस आयोजन में भाग लेने का अनुरोध किया है।
कार्यक्रम की विशेषताएं
गढ़ भोज दिवस के दौरान स्थानीय पारंपरिक व्यंजनों की प्रदर्शनी और विभिन्न प्रकार के भोजन आधारित प्रतियोगिताओं का आयोजन किया जाएगा। इसमें उत्तराखंड की पारंपरिक थाली का महत्व और उसकी पौष्टिकता पर भी विशेष ध्यान दिया जाएगा। देहरादून के राजकीय बालिका इंटर कॉलेज में होने वाले इस आयोजन में भाग लेने के लिए सभी आमंत्रित हैं।
कार्यक्रम की शुरुआत 11 बजे से होगी और इसमें सैकड़ों लोगों की भागीदारी की उम्मीद की जा रही है।
गढ़ भोज अभियान के प्रणेता श्री द्वारिका प्रसाद सेमवाल ने इस आयोजन के महत्व को रेखांकित करते हुए कहा कि उत्तराखंड के पारंपरिक भोजन की समृद्धि और उसकी पौष्टिकता को जन-जन तक पहुंचाने के लिए यह दिवस एक महत्वपूर्ण मंच प्रदान करता है। उनका मानना है कि पारंपरिक भोजन से लोगों की काया निरोगी हो सकती है और स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं को कम किया जा सकता है।
कार्यक्रम का उद्देश्य
इस आयोजन का मुख्य उद्देश्य उत्तराखंड के पारंपरिक खान-पान को बढ़ावा देना और नई पीढ़ी को इसके महत्व से अवगत कराना है। वर्तमान समय में जब लोग अधिकतर जंक फूड की ओर आकर्षित हो रहे हैं, ऐसे में पारंपरिक भोजन के प्रति जागरूकता फैलाना आवश्यक हो गया है। गढ़ भोज दिवस एक ऐसा अवसर है जो न केवल उत्तराखंड की सांस्कृतिक धरोहर को सहेजने में मदद करता है, बल्कि लोगों के स्वास्थ्य के प्रति भी सकारात्मक संदेश देता है।
अतः आप सभी से निवेदन है कि इस महत्वपूर्ण आयोजन में भाग लेकर इसे सफल बनाएं।
समय: 11 बजे
स्थान: राजकीय बालिका इंटर कॉलेज, राजपुर रोड, देहरादून
द्वारिका प्रसाद सेमवाल
प्रणेता, गढ़ भोज अभियान
9411148872, +91 70784 53415